हेमकुंड साहिब यात्रा की तैयारियां जोरों पर हैं। 25 मई 2025 को श्रद्धालुओं के लिए दरवाज़े खोल दिए जाएंगे। चमोली जिले में स्थित इस मशहूर सिख तीर्थ स्थल तक पहुंचने के रास्ते से बर्फ हटाने का काम सेना के जवान तेजी से कर रहे हैं, ताकि रास्ता पूरी तरह साफ और सुरक्षित हो सके।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देश पर जिलाधिकारी संदीप तिवारी खुद निगरानी कर रहे हैं। यात्रा के रास्ते में बिजली, पानी, टॉयलेट्स और मेडिकल सुविधाएं बेहतर की जा रही हैं। गोविंदघाट, घांघरिया और हेमकुंड साहिब में गुरुद्वारा ट्रस्ट ने भी सारी तैयारियां पूरी कर ली हैं।
बुधवार को उत्तराखंड पुलिस ने रास्ते का दौरा किया और सुरक्षा इंतज़ामों का जायज़ा लिया। पुलिस ने सोशल मीडिया पर लिखा, हेमकुंड साहिब यात्रा 2025, कपाट खुलने से पहले चमोली पुलिस ने सुरक्षा तैयारियां तेज़ कीं, पैदल रास्ते का निरीक्षण कर हालात देखे।
अब रजिस्ट्रेशन पहले से आसान
उत्तराखंड पर्यटन विकास परिषद (UTDB) ने इस बार यात्रा को ज्यादा आसान बनाने के लिए आधार और eKYC आधारित ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन शुरू किया है। इसका मकसद है:
- रजिस्ट्रेशन में लगने वाला वक्त कम करना
- श्रद्धालुओं की मूवमेंट पर नज़र रखना
- भीड़ कंट्रोल करना और मौसम की जानकारी जल्दी देना
- रहने, आने-जाने, खाने और इलाज की बेहतर प्लानिंग
- इमरजेंसी में प्रशासन और यात्रियों के बीच बेहतर तालमेल
15,000 फीट की ऊंचाई पर बसा हेमकुंड साहिब
हेमकुंड साहिब चमोली जिले के ऊंचे पहाड़ों में, करीब 15,000 फीट की ऊंचाई पर है। अक्टूबर से अप्रैल तक यहां भारी बर्फबारी होती है, इसलिए ये जगह बंद रहती है। लेकिन गर्मियों में हजारों श्रद्धालु यहां दर्शन के लिए पहुंचते हैं।