जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के जवाब में शुरू किए गए ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के बाद केंद्र सरकार ने 8 मई को सुबह 11 बजे संसद भवन परिसर में एक सर्वदलीय बैठक बुलाई है। इस मीटिंग का मकसद सभी राजनीतिक दलों को ऑपरेशन की पूरी जानकारी देना और आगे की रणनीति पर चर्चा करना है। केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू ने बताया कि ये बैठक संसद पुस्तकालय भवन के कक्ष जी-074 में होगी।
Govt has called an All Party leaders meeting at 11 am on 8th May, 2025 at Committee Room: G-074, in the Parliament Library Building, Parliament Complex in New Delhi. https://t.co/1hcBepMReC
— Kiren Rijiju (@KirenRijiju) May 7, 2025
ऑपरेशन सिंदूर: भारत का आतंकवाद पर निर्णायक प्रहार
7 मई की सुबह भारतीय सेना ने पाकिस्तान और पीओके में मौजूद लश्कर, जैश और हिजबुल के 9 आतंकी अड्डों पर मिसाइल से हमला किया। रक्षा मंत्रालय ने कहा कि ये हमले पूरी तरह टारगेटेड और संयमित थे, जिनका मकसद सिर्फ आतंकी ठिकानों को तबाह करना था, पाकिस्तानी सेना को नुकसान पहुंचाना नहीं था। ये कार्रवाई उस आतंकी हमले के जवाब में की गई, जिसमें 25 भारतीयों और 1 नेपाली नागरिक की जान गई थी।
भारतीय सेना ने बहावलपुर और मुरीदके जैसे ठिकानों को भी निशाना बनाया, जहां लश्कर के वो कैंप थे जिनमें अजमल कसाब और डेविड हेडली जैसे आतंकियों को ट्रेनिंग दी गई थी।
एकजुटता का दिखा संदेश
ऑपरेशन सिंदूर के बाद की स्थिति पर चर्चा और आतंकवाद के खिलाफ राष्ट्रीय एकजुटता का संदेश देने के लिए केंद्र सरकार ने सर्वदलीय बैठक बुलाई है। सूत्रों के मुताबिक, इस बैठक की अध्यक्षता रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह करेंगे। इसमें गृहमंत्री अमित शाह, विदेश मंत्री एस. जयशंकर समेत कई वरिष्ठ नेता मौजूद रहेंगे। कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कहा कि सरकार को उनका पूरा समर्थन है और उन्हें भारतीय सेना पर गर्व है। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने भी भारत की आतंकवाद विरोधी नीति के साथ खड़े होने की बात कही।
पहलगाम हमले की पृष्ठभूमि
22 अप्रैल को पहलगाम की बैसारन घाटी में आतंकियों ने टूरिस्टों पर अंधाधुंध फायरिंग की थी। जांच में सामने आया कि हमलावरों के पास M4 कार्बाइन और AK-47 जैसे खतरनाक हथियार थे, और उनका लिंक पाकिस्तान के आतंकी संगठनों से था।
पाकिस्तान की प्रतिक्रिया और बढ़ता तनाव
ऑपरेशन के बाद पाकिस्तान ने इस कार्रवाई को “युद्ध जैसी” बताते हुए LOC पर भारी गोलीबारी की, जिसमें 10 भारतीय नागरिकों की मौत हो गई हैं। पाकिस्तान के रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ने बयान दिया कि अगर भारत कोई और कदम नहीं उठाता हैं, तो पाकिस्तान भी जवाबी हमला नहीं करेगा।
भारतीय विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने कहा कि भारत ने अमेरिका, ब्रिटेन, रूस समेत कई देशों को इस ऑपरेशन की जानकारी दी हैं और पाकिस्तान पर आतंकियों को पनाह देने का गंभीर आरोप लगाया है।